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1. बिजोलिया की तरह बेगूं क्षेत्र में भी किसान आंदोलन काफी प्रभावी रहा था। यहां के गोविन्दपुरा गांव में हुए गोलीकांड में दो किसान शहीद हुए थे। यह गोली कांड किस वर्ष हुआ था?
- 1925
- ✓ 1923
- 1935
- 1913
महात्मा गांधी के असहयोग आंदोलन से पहले शुरु हुए बेगूं बिजौलियां के किसान आंदोलन ने इतिहास में महत्वपूर्ण अध्याय जोड़ा है। देश की आजादी के लिए बेगूं के किसानों ने कोड़ों की मार झेली, जेल गए। रूपाजी करपाजी भी कई यातनाएं सहते हुए शहीद हो गए, लेकिन गुलामी स्वीकार नहीं की।
2. पिंगल भाषा पर जिस क्षेत्र का असर पड़ा था, वह है-
- मालवा
- सिंध
- ✓ ब्रज
- गुजरात
डॉ. तेसीतोरी ने राजस्थान के पूर्वी भाग की भाषा को पिंगल अपभ्रंश नाम दिया है। उनके अनुसार इस भाषा से संबंद्ध क्षेत्र में मेवाती, जयपुरी, आलवी आदि बोलियाँ मानी हैं। पूर्वी राजस्थान में, ब्रज क्षेत्रीय भाषा शैली के उपकरणों को ग्रहण करती हुई, पिंगल नामक एक भाषा- शैली का जन्म हुआ, जिसमें चारण- परंपरा के श्रेष्ठ साहित्य की रचना हुई।
3. करौली ज़िले के हिण्डोन क़स्बे में लाल पत्थर की राज्य की सबसे बड़ी मंडी है। जहां के कारीगर लाल पत्थर की मूर्तियाँ भी खूब बनाते हैं। तो यहां का यह हस्त शिल्प भी कम नहीं है।
- मखमल
- जूतियाँ
- कांच की चूड़ियाँ
- ✓ लाख की चूड़ियाँ
4. कलख वृद्ध सिंचाई परियोजना का संबंध किस ज़िले से है?
- अजमेर
- सवाईमाधोपुर
- ✓ जयपुर
- भीलवाड़ा
5. राजस्थान के इस गांव में पत्थरों से होली खेलना और खून बहाना आज भी शुभ माना जाता है।
- बालोतरा
- सारेगबास
- भिनाय
- ✓ भीलूड़ा
राजस्थान भर में अपनी तरह की अनूठी एवं दूर-दूर तक मशहूर पत्थरमार होली आदिवासी बहुल वागड़ के भीलूड़ा गांव में खेली जाती है जिसमें लोग रंग-गुलाल और अबीर की बजाय एक-दूसरे पर पत्थरों की जमकर बारिश कर होली मनाते हैं। इस गांव की युगों पुरानी परम्परा के अनुसार धुलेड़ी पर्व के दिन शाम को इसका रोमांचक नज़ारा रह-रह कर साहस और शौर्य का दिग्दर्शन कराता है।
6. स्थानीय भाषा राजस्थान की इस महत्वपूर्ण वन उपज को ‘टिमरू’ कहते हैं।
- बांस
- खैर
- ✓ तेंदू
- महुआ
तेंदू पत्ते से बीड़ी तैयार की जाती है। वागड़ की आबोहवा तेंदू पत्तों के उत्पादन के लिए अनुकूल है।
7. कमला व इलाइची नाम की महिला चित्रकार किस शैली से जुड़ी थी ?
- ✓ नाथद्वारा
- मेवाड़
- मारवाड़
- जयपुर
8. दयाबाई एवं सहजोबाई का संबंध किस सम्प्रदाय से था ?
- रामस्नेही
- नाथ
- दादू
- ✓ चरणदासी
संत चरणदास के परम शिष्यों रामरूप जी ,जोगजीत जी, सरस मादुरी शरण , सहजोबाई और दयाबाई ने अपनी रचनाओ मे बार बार गुरुदेव जी का यश गया है | उन्होने गुरुदेव को लोहे को सोना बना देने वाला परस और बेकार वृक्षों को अपनी सुगंधी से सुगन्धित कर देने वाला चन्दन कहा है | सतगुरु के प्रेम मे मगन सहजोबाई ने सतगुरु को हरी से भी ऊँचा दर्जा दिया है |
9. यह भी ‘बणी-ठणी’ के लिए प्रसिद्ध चित्रकार निहालचन्द की प्रसिद्ध कृति रही है।
- चोर पंचाशिका
- रागमाला
- ✓ राधा-कृष्ण
- गुलिस्तां
किशनगढ़ चित्रशैली का प्रसिद्ध चित्रकार ‘निहालचन्द था, जिसने प्रसिद्ध ‘बनी-ठणी’ चित्र चित्रित किया।
10. इन्हें बागड़ की मीरां कहा जाता है।
- काली बाई
- कृष्णा कुमारी
- देऊ
- ✓ गवरी बाई
संवत् 1815 में राम नवमी के दिन एक नागर ब्राह्मण परिवार में इस कन्या का जन्म हुआ। साधारण परिवार में जन्मी इस कन्या का नाम गवरी बाई था जिसे आज इतिहास में ‘‘वागड़ की मीरा’’ के नाम से जाना जाता है।
11. राज्य की सबसे छोटी बकरी की नस्ल है।
- जमनापारी
- परबतसरी
- ✓ बारबरी
- जखराना
12. ‘कलीला-दमना’ की चित्राकंन परम्परा को मेवाड़ के शासक संग्राम सिंह द्वितीय ने प्रश्रय दिया था। यह पंचतंत्र का अनुवाद था, जो स्थानीय शैली मेंचित्रों के माध्यम से किया गया था। इसके प्रमुख कलाकार थे -
- ✓ नुरूद्दीन
- सुरजन
- साहिबदीन
- रघुनाथ
13. निम्न में से किस खनिज से राज्य सरकार को सर्वाधिक राजस्व मिलता है ?
- मार्बल
- लिग्नाइट
- तांबा
- ✓ सीसा-जस्ता
अलौह धातु सीसा, जस्ता एवं ताबां के उत्पादन मूल्य की दृष्टि से देश में राजस्थान का प्रथम स्थान है तथा लौह खनिज टंगस्टन आदि के उत्पादन मूल्य में प्रदेश का चौथा स्थान बन गया है।
14. सोनामुखी के बेहतर विपणन के लिए विशिष्ट मंडी कहां स्थापित की गई है
- बाड़मेर
- सोजत
- ✓ जोधपुर
- जालोर
फलौदी, जि. जोधपुर में। सोनामुखी का पौधा मूलतः अरब देशों से भारत में आया है। इसको हिन्दी में सनाय, राजस्थानी में सोनामुखी कहते हैं। भारत में अधिकतर इसकी खेती तमिलनाडू में की जाती है। भारत का सोनामुखी की खेती में विश्व में प्रथम स्थान है। भारत से प्रति वर्ष तीस करोड़ रुपये से अधिक की सोनामुखी की पत्तियों का निर्यात किया जाता है। सोनामुखी की पत्तियों का उपयोग आयुर्वेदिक, यूनानी तथा एलोपैथिक दवाइयों के निर्माण में किया जाता है। यह फ़सल हरियाणा के दक्षिण-पश्चिम भागों में आसानी से उगाई जा सकती है। पूर्णतया बंजर भूमि में उपजाए जा सकने वाले इस औषधीय पौधे के लिए न तो ज़्यादा पानी की आवश्यकता होती है तथा न ही खाद की और न ही किसी विशेष सुरक्षा अथवा देखभल की। इसको लगाने के उपरान्त न तो कोई पशु आदि खाते हैं। इस प्रकार हरियाणा के विभिन्न भागों में विशेष रूप से बंजर भूमि में इस औषधीय पौधे को खेती करके पर्याप्त लाभ कमाया जा सकता है।
15. झीलवाड़ा की नाल या पगल्या से कौनसे दो ज़िले जुड़ते हैं ?
- नागौर-अजमेर
- ✓ पाली-राजसमन्द
- डूंगरपुर-उदयपुर
- सिरोही-उदयपुर
झीलवाड़ा की नाल , जिसे देसूरी की नालया पगल्या नाम से भी जाना जाता है, मेवाड़ को मारवाड़ से जोड़ती है। मुगलों के समय हल्दीघाटी के युद्ध के पश्चात् मुगलों ने अधिकांश आक्रमण इसी नाल से घुस कर किये। इसके अतिरिक्त मेवाड़ को मारवाड़ से जोडऩे वाली अन्य नाल सोमेश्वर की नाल, हाथीगुड़ा की नाल, भाणपुरा की नाल (राणकपुर का घाटा), कामली घाट, गोरम घाट व काली घाटी है।
16. निजी क्षेत्र में पवन ऊर्जा की पहली इकाई कहां स्थापित हुई थी और कब हुई थी ?
- फलौदी 2010
- हर्षपर्वत 2005
- देवगढ़, 2007
- ✓ जैसलमेर, 2001
17. जिप्सम के उत्पादन के लिए आजादी के पहले और आज भी अग्रणी है।
- बाड़मेर
- गंगानगर
- नागौर
- ✓ बीकानेर
18. 2001 की जनगणना और 2007 की पशुगणना में किस ज़िलों में सर्वाधिक लिंगानुपात, सर्वाधिक पशुधनत्व और सर्वाधिक हिंदू आबादी का प्रतिशत पाया गया है ?
- ✓ डूंगरपुर
- जयपुर
- बाँसवाड़ा
- बाड़मेर
19. हांग-कांग की फोकस एनर्जी नामक कम्पनी हमें गैस की खोज और उसके उत्पादन में सहयोग कर रही है। इसको वर्तमान में कौनसा कार्यक्षेत्र दिया गया है।
- सांचोर
- तनोट
- ✓ शाहगढ़
- बाधेवाला
वर्तमान में फोकस एनर्जी द्वारा क्षेत्र में उत्पादित की जाने वाले बैस की सप्लाई रामगढ़ स्थित विद्युत तापीय गृह को की जा रही है। वर्तमान में 70 लाख क्यूबिक फीट गैस की सप्लाई हो रही है।
20. ए.जी.जी. राजस्थान में अँग्रेज़ी राज के प्रतिनिधि हुआ करते थे। उनका कार्यालय प्रारम्भ में अजमेर में था, जिसे माउन्ट आबू में इस वर्ष स्थानान्तरित कर दिया गया था।
- ✓ 1856
- 1889
- 1835
- 1902
21. राजस्थान में सर्वाधिक प्रतिशत किस प्रकार के वनों का पाया जाता है ?
- ढाक वन
- सालर वन
- ✓ धौंक वन
- बांस वन
22. राज्य में तिल के उत्पादन में अग्रणी ज़िलों का सही अवरोही क्रम है।
- पाली, नागौर, अजमेर, जयपुर
- ✓ पाली, सवाईमाधोपुर, जोधपुर, करौली
- कोटा, करौली, बारां, जयपुर
- जयपुर, अजमेर, टोंक, पाली
23. कुड़क, मुरकी, ओगन्या, टोटी व गुड़दा, शरीर के किस भाग में पहने जाने वाले गहने हैं ?
- नाक
- ✓ कान
- हाथ
- गला
24. मूलतः यह नाट्य गायन पठानों की पश्तो भाषा में होता था। राजस्थान आकर यह यहां के रंग में रंग गया है।
- जयपुरी ख्याल
- तुर्रा कलंगी
- ✓ चारबैत ख्याल
- माच ख्याल
25. भपंग किस प्रकार का वाद्य है ?
- अवनद्य
- सुषिर
- ✓ धन
- तत्
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1. भरतेश्वेर बाहुबलि घोर (1168 ई.) राजस्थानी भाषा का सबसे प्राचीन जैन ग्रन्थ है, जिसमें भरतेश्वर और बाहुबलि के बीच हुए घोर युद्ध का वर्णन है। इसके लेखक कौन थे ?
- जिनदत्त सूरि
- ✓ ब्रजसेन सूरि
- पल्हण
- विजयसेन सूरि
2. 15वीं शताब्दी के अध्ययन का यह ग्रन्थ प्रमुख साधन है। इसमें वास्तुकला का वर्णन है और यह कुम्भा के प्रमुख शिल्पी मंडन द्वारा लिखा गया था। कौन सा ग्रन्थ है ?
3. पृथ्वीराज राठौड़ किस भाषा में रचनाएं लिखते थे ?
- पिंगल
- फारसी
- ✓ डिंगल
- संस्कृत
4. जब उन्हें लगा कि राजस्थानी वीरों को विद्रोह के लिए उकसाना एक बुझे दीपक में तेल डालने जैसा कार्य है, उन्होंने 700 दोहों की जगह 288 दोहे लिखकर ग्रन्थ अधूरा छोड़ दिया। कौन थे ?
- चंडीदान
- केशवदास
- ✓ सूर्यमल्ल मिश्रण
- केसरीसिंह बारहठ
5. हरियाणा की सीमा से जुड़ा जिला नहीं है?
- हनुमानगढ़
- ✓ बीकानेर
- सीकर
- जयपुर
6. जयपुर की अनुकृति (नकल) पर बसे इस छोटे शहर का किला स्थल दुर्ग है। चारों ओर 20 फीट चौड़ी तथा 30 फीट गहरी खाई है। कौनसा शहर है ?
- ✓ माधोराजपुरा
- चौमूं
- नीम का थाना
- सांगानेर
7. वर्तमान में इस किले के ध्वंसा शेष, रावण दैहरा, के नाम से जाने जाते हैं। किसी जमाने में यह बाला दुर्ग के नाम से प्रसिद्ध था।
- गागरोण दुर्ग
- भटनेर दुर्ग
- नाहरगढ़
- ✓ अलवर का किला
8. 84 खम्भों पर स्थित इस वैष्णव मन्दिर पर स्थित शिला लेख में प्रतिहारों की वंशावली उत्कीर्ण की हुई है। श्री कृष्ण का यहां ननिहाल था और तब इस नगर को ब्रह्मपुर कहते थे। कहां का मन्दिर, कौनसा नगर ?
- डीग
- ✓ कामां
- बैर
- बयाना
9. यह महल मात्र एक खम्भे पर खड़ा होने से ‘एक खम्भा महल’ कहलाया था। एक खम्भा और उस पर तीन मंजिला महल। इस आश्चर्यजनक रचना को कहां देखा जा सकता है ?
- बूंदी
- आमेर
- ✓ मंडोर
- चित्तौड़
10. अजबदे पंवार कौन थी ?
- ✓ महाराणा प्रताप की पत्नी
- पृथ्वीराज चौहान की मां
- स्वतंत्रता सेनानी
- मेवाड़ की संत
11. महिला शिक्षा के प्रसार के लिए समर्पित पद्मश्री मिस लूटर का कार्य क्षेत्र था।
- उदयपुर
- ✓ जयपुर
- जोधपुर
- अजमेर
12. पद्मभूषण और पत्रकारिता के स्तम्भ कहे जाने वाले पं. झावर मल्ल शर्मा का जन्म किस ज़िले में हुआ था ?
- सीकर
- जयपुर
- कोटा
- ✓ झुन्झुनु
13. इन्होंने ‘दबाव आयनीकरण’ का सिद्धान्त देकर अन्तरिक्ष भौतिकी को आंदोलित कर दिया। अपने यहां उदयपुर में जन्मे ये वैज्ञानिक विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के अध्यक्ष भी रहे। ये पद्म विभूषण कौन थे?
- ✓ डॉ. दौलतसिंह कोठारी
- रामगोपाल विजय वर्गीय
- डॉ. नगेन्द्रसिंह
- डॉ. प्रमोद करण सेठी
14. आधी सदी तक वे शब्द चुनते रहे, लिखते रहे। दो लाख शब्दों का अभूतपूर्व ‘राजस्थानी भाषा का शब्द कोष’ रचने वाले इस शब्द पुरुष को राजस्थानी जुबान की मशाल भी कहा गया है। ये थे -
- सूर्यमल्ल मिश्रण
- डॉ. एल. पी. टैस्सीटोरी
- ✓ डॉ. सीताराम लालस
- प्रतापनारायण पुरोहित
15. भेड़ व ऊन प्रशिक्षण संस्थान कहां स्थित है ?
- ब्यावर
- जोधपुर
- ✓ जयपुर
- बीकानेर
16. तीन कथनों पर विचार कीजिये और सही उत्तर बताइये -
(1) ऊन उत्पादन में राजस्थान देश में सबसे आगे है।
(2) मांस उत्पादन में राजस्थान दूसरे स्थान पर है।
(3) अण्डा उत्पादन में राजस्थान दूसरे स्थान पर है।
- सभी कथन सही है।
- केवल 1 और 3 सही है।
- ✓ केवल 1 सही है।
- केवल 2 और 3 सही है।
17. ‘जर्सी’ गाय किस महाद्वीप से आई है ?
- ✓ अमेरिका
- योरोप
- अफ्रीका
- ऑस्ट्रेलिया
18. आसपास के निवासी इन्हें ‘सीता जी का मांडणा’ कहते हैं, परन्तु विषय के जानकार इन्हें प्राचीन शैल चित्र कहते हैं। इस स्थान पर ऐसे चित्र मिले है।
- धौलपुर
- ✓ अलनिया
- भरतपुर
- बैराठ
19. चित्र कला के लिए प्रसिद्ध संग्रहालय ‘सरस्वती भण्डार’ कहां है ?
- जोधपुर
- ✓ उदयपुर
- बूंदी
- कोटा
20. वर्तमान राष्ट्रीय राजमार्ग 11 का लम्बा इतिहास रहा है। आगरा से मुल्तान को यही मार्ग जोड़ता था। कौनसा शहर इस मार्ग पर स्थित नहीं है?
- ✓ चुरू
- दौसा
- बीकानेर
- सीकर
21. गुजरात की सीमा से सबसे नजदीक जिला मुख्यालय है -
- ✓ डूंगरपुर
- जालोर
- उदयपुर
- सिरोही
22. कौनसी सम वर्षा रेखा राजस्थान को दो लगभग बराबर भागों में बाँटती है ?
- 70 सेमी
- 40 सेमी
- ✓ 50 सेमी
- 60 सेमी
23. राजस्थान में वर्ष में सबसे अधिक दिनों तक वर्षा किस स्थान पर होती है ?
- छबड़ा
- झालरापाटन
- ✓ मा. आबू
- कुशलगढ़
24. पश्चिमी विक्षोभ से होने वाली मावट के लिए कौनसी स्थायी पवनें जिम्मेदार होती हैं ?
- उत्तर पश्चिमी पवनें
- उत्तर पूर्वी व्यापारिक पवनें
- ✓ दक्षिण पश्चिमी पवनें
- दक्षिणी पूर्वी व्यापारिक पवनें
पश्चिमी विक्षोभ या वेस्टर्न डिस्टर्बन्स (Western Disturbance) भारतीय उपमहाद्वीप के उत्तरी इलाक़ों में सर्दियों के मौसम में आने वाले ऐसे तूफ़ान को कहते हैं जो वायुमंडल की ऊँची तहों में भूमध्य सागर, अन्ध महासागर और कुछ हद तक कैस्पियन सागर से नमी लाकर उसे अचानक वर्षा और बर्फ़ के रूप में उत्तर भारत, पाकिस्तान व नेपाल पर गिरा देता है।
इनका वहन पछुआ पवनों द्धारा होता है। ये दोनों गोलाद्धों में उपोष्ण उच्च वायुदाब(३० डीग्री से ३५ डीग्री) कटिबन्धों से उपध्रुवीय निम्न वायुदाब (६० डीग्री से ६५ डीग्री ) कटिबन्धों की ओर चलने वाली स्थायी पवन हैं । इनकी पश्चमी दिशा के कारण इन्हे पछुवा पवन कहते हैं ।
पृथ्वी के दोनों गोलार्धो में उपोष्ण उच्च वायु दाब कटिबंधो से उपध्रुवीय निम्न वायुदाब कटीबंधो की ओर बहने वाली स्थायी हवाओ को इनकी पश्चिम दिशा के कारण पछुआ पवन कहा जाता है| उत्तरी गोलार्ध में ये दक्षिण-पश्चिम से उत्तर -पूर्व की ओर तथा दक्षिणी गोलार्ध में उत्तर - पश्चिम से दक्षिण-पूर्व की ओर बहती है|
25. राज्य में वाष्पोत्सर्जन की सबसे कम दर यहां है।
- चुरू
- झालावाड
- ✓ बाँसवाड़ा
- जैसलमेर
- ..................................................................................................................................
- 1. हल्के भूरे रंगों के (कपिष वर्ण) मिट्टी के बर्तनों पर काले व नीले रंग के चित्र यहां पर बनते थे। मकान पत्थरों से बनाये जाते थे, ईंटों का प्रयोग नहीं होता था। ताम्र उपकरण और आभूषण इस सभ्यता की शोभा बढ़ाते थे।
- ✓ गणेश्वर
- कालीबंगा
- आहड़
- बालाथल
गणेश्वर, राजस्थान के सीकर ज़िला के अंतर्गत नीम-का-थाना तहसील में ताम्रयुगीन संस्कृति का एक महत्त्वपूर्ण स्थल है। गणेश्वर से प्रचुर मात्रा में जो ताम्र सामग्री पायी गयी है, वह भारतीय पुरातत्त्व को राजस्थान की अपूर्व देन है। ताम्रयुगीन सांस्कृतिक केन्द्रों में से यह स्थल प्राचीनतम स्थल है। खेतड़ी ताम्र भण्डार के मध्य में स्थित होने के कारण गणेश्वर का महत्त्व स्वतः ही उजागर हो जाता है। यहाँ के उत्खनन से कई सहस्त्र ताम्र आयुध एवं ताम्र उपकरण प्राप्त हुए हैं। इनमें कुल्हाड़ी, तीर, भाले, सुइयाँ, मछली पकड़ने के काँटे, चूड़ियाँ एवं विविध ताम्र आभूषण प्रमुख हैं। इस सामग्री में 99 प्रतिशत ताँबा है। ताम्र आयुधों के साथ लघु पाषाण उपकरण मिले हैं, जिनसे विदित होता है कि उस समय यहाँ का जीवन भोजन संग्राही अवस्था में था। यहाँ के मकान पत्थर के बनाये जाते थे। पूरी बस्ती को बाढ़ से बचाने के लिए कई बार वृहताकार पत्थर के बाँध भी बनाये गये थे। कांदली उपत्यका में लगभग 300 ऐसे केन्द्रों की खोज़ की जा चुकी हैं, जहाँ गणेश्वर संस्कृति पुष्पित-पल्लवित हुई थी।2. प्राचीन सभ्यता ‘गिलूण्ड’ के अवशेष किस नदी के किनारे और किस जिले में मिले है ?- रूपारेल, भरतपुर
- ✓ बनास, राजसमन्द
- लूनी, पाली
- खारी, भीलवाड़ा
आघाटपुर-आयड़ सभ्यता का एक महत्वपूर्ण स्थान राजसमन्द जिले में गिलूण्ड है जो बनास नदी के तट पर बसा है। इस स्थान का उत्खनन सन् १९५९-६० में श्री बी.बी. लाल के निर्देशन में हुआ। तीसरा महत्वपूर्ण स्थान है बालाथल जो उदयपुर जिले के वल्लभनगर तहसील में स्थित है। यह उदयपुर से उत्तर पूर्व लगभग ४० किलोमीटर दूर है जिसका उत्खनन श्री बी.एम. मिश्र के निर्देशन में १९९३-९४ में हुआ। यह टीला बालाथल गांव के पास है जो तीन हेक्टर क्षेत्र में फैला है। इस टीले का उत्तरी आधा भाग सुरक्षित है तथा दक्षिणी आधा भाग एक स्थानीय कृषक द्वारा समतल कर दिया गया है और इस पर खेती होती है। (पुरातत्व विमर्श-जयनारायण पाण्डेय-पृ.४५१)3. ‘राजस्थान संगीत’ नामक पुस्तक के लेखक -- विजयसिंह पथिक
- ✓ सागरमल गोपा
- सुमनेश जोशी
- जयनारायण व्यास
4. तारीख-ए-राजस्थान के लेखक थे -- खाफी खां
- ✓ कालीराय कायस्थ
- ज्वाला सहाय
- मूलचंद मुंशी
5. ‘राजरत्नाकर’ के लेखक थे -- जीवाधर
- ✓ सदाशिव
- रघुनाथ
- कृष्ण भट्ट
6. जयानक भट्ट रचित ‘पृथ्वीराज विजय’ की भाषा थी -- फारसी
- डिंगल
- ✓ संस्कृत
- पिंगल
7. ‘ट्रेवल्स इन वेस्टर्न इण्डिया’ के लेखक ने राजस्थान के इतिहास को बड़ा योगदान दिया है। इनका नाम था -- ✓ जेम्स टॉड
- डफ ग्रांट
- हरयन गोल्ज
- जी.एच. ट्रेबर
कर्नल टॉड द्वारा भारत भ्रमण के अनुभव पर आधारित यह पुस्तक 1839 में उनकी मृत्यु (1835) के पश्चात प्रकाशित हुई थी।8. स्वरूपशाही, चांदोड़ी, शाहआलमी, ढींगला एवं सिक्काएलची किस रियासत के प्रचलित सिक्के थे ?- अलवर
- डूंगरपुर
- जयपुर
- ✓ मेवाड़
मेवाड़ में मुद्रा का प्रचलन - १८ वीं सदी के पूर्व मेवाड़ में मुगल शासको के नाम वाली “सिक्का एलची’ का प्रचलन था, लेकिन औरंगजेब के बाद मुगल साम्राज्य का प्रभाव कम हो जाने के कारण अन्य राज्यों की तरह मेवाड़ में भी राज्य के सिक्के ढ़लने लगे। १७७४ ई. में उदयपुर में एक अन्य टकसाल खोली गई। इसी प्रकार भीलवाड़ा की टकसाल १७ वीं शताब्दी के पूर्व से ही स्थानीय वाणिज्य- व्यापार के लिए “भीलवाड़ी सिक्के’ ढ़ालती थी। बाद में चित्तौड़गढ़, उदयपुर तथा भीलवाड़ा तीनों स्थानों के टकसालों पर शाहआलम (द्वितीय) का नाम खुदा होता था। अतः यह “आलमशाही’ सिक्कों के रुप में प्रसिद्ध हुआ। राणा संग्रामसिंह द्वितीय के काल से इन सिक्कों के स्थान पर कम चाँदी के मेवाड़ी सिक्के का प्रचलन शुरु हो गया। ये सिक्के चित्तौड़ी और उदयपुरी सिक्के कहे गये। आलमशाही सिक्के की कीमत अधिक थी।१०० आलमशाही सिक्के = १२५ चित्तौड़ी सिक्केउदयपुरी सिक्के की कीमत चित्तौड़ी से भी कम थी। आंतरिक अशांति, अकाल और मराठा अतिक्रमण के कारण राणा अरिसिंह के काल में चाँदी का उत्पादन कम हो गया। आयात रुक गये। वैसी स्थिति में राज्य- कोषागार में संग्रहित चाँदी से नये सिक्के ढ़ाले गये, जो अरसीशाही सिक्के के नाम से जाने गये। इनका मूल्य था–१ अरसी शाही सिक्का = १ चित्तौड़ी सिक्का = १ रुपया ४ आना ६ पैसा।राणा भीम सिंह के काल में मराठे अपनी बकाया राशियों का मूल्य- निर्धारण सालीमशाही सिक्कों के आधार पर करने लगे थे। इनका मूल्य था —सालीमशाही १ रुपया = चित्तौड़ी १ रुपया ८ आनाआर्थिक कठिनाई के समाधान के लिए सालीमशाही मूल्य के बराबर मूल्य वाले सिक्के का प्रचलन किया गया, जिन्हें “चांदोड़ी- सिक्के’ के रुप में जाना जाता है। उपरोक्त सभी सिक्के चाँदी, तांबा तथा अन्य धातुओं की निश्चित मात्रा को मिलाकर बनाये जाते थे। अनुपात में चाँदी की मात्रा तांबे से बहुत ज्यादा होती थी।इन सिक्कों के अतिरिक्त त्रिशूलिया, ढ़ीगला तथा भीलाड़ी तोबे के सिक्के भी प्रचलित हुए। १८०५ -१८७० के बीच सलूम्बर जागीर द्वारा “पद्मशाही’ ढ़ीगला सिक्का चलाया गया, वहीं भीण्डर जागीर में महाराजा जोरावरसिंह ने “भीण्डरिया’ चलाया। इन सिक्कों की मान्यता जागीर लेन- देन तक ही सीमित थी। मराठा- अतिक्रमण काल के “मेहता’ प्रधान ने “मेहताशाही’ मुद्रा चलाया, जो बड़ी सीमित संख्या में मिलते हैं।राणा स्वरुप सिंह ने वैज्ञानिक सिक्का ढ़लवाने का प्रयत्न किया। ब्रिटिश सरकार की स्वीकृति के बाद नये रुप में स्वरुपशाही स्वर्ण व रजत मुद्राएँ ढ़ाली जाने लगी। जिनका वजन क्रमशः ११६ ग्रेन व १६८ ग्रेन था। १६९ ग्रेन शुद्ध सोने की मुद्रा का उपयोग राज्य- कोष की जमा – पूँजी के रुप में तथा कई शुभ- कार्यों के रुप में होता था। पुनः राज्य कोष में जमा मूल्य की राशि के बराबर चाँदी के सिक्के जारी कर दिये जाते थे। इसी समय में ब्रिटिशों का अनुसरण करते हुए आना, दो आना व आठ आना, जैसे छोटे सिक्के ढ़ाले जाने लगे, जिससे हिसाब- किताब बहुत ही सुविधाजनक हो गया। रुपये- पैसों को चार भागों में बाँटा गया पाव (१/२), आधा (१/२), पूण (१/३) तथा पूरा (१) सांकेतिक अर्थ में इन्हें ।, ।।, ।।। तथा १ लिखा जाता था। पूर्ण इकाई के पश्चात् अंश इकाई लिखने के लिए नाप में s चिन्ह का तथा रुपये – पैसे में o ) चिन्ह का प्रयोग होता था।ब्रिटिश भारत सरकार के सिक्कों को भी राज्य में वैधानिक मान्यता थी। इन सिक्कों को कल्दार कहा जाता था। मेवाड़ी सिक्कों से इसके मूल्यांतर को बट्टा कहा जाता था। चांदी की मात्रा का निर्धारण इसी बट्टे के आधार पर होता था। उदयपुरी २.५ रुपया को २ रुपये कल्दार के रुप में माना जाता था। १९२८ ई. में नवीन सिक्कों के प्रचलन के बाद तत्कालीन राणा भूपालसिंह ने राज्य में प्रचलित इन प्राचीन सिक्कों के प्रयोग को बंद करवा दिया।9. राजस्थान राज्य अभिलेखागार यहां स्थित है।- ✓ बीकानेर
- जयपुर
- अजमेर
- जोधपुर
बीकानेर स्थित राजस्थान राज्य अभिलेखागार देश के सबसे अच्छे और विश्व के चर्चित अभिलेखागारों में से एक है. इस अभिलेखागार की स्थापना 1955 में हुई और यह अपनी अपार व अमूल्य अभिलेख निधि के लिए प्रतिष्ठित है।10. ‘प्राण मित्रों भले ही गंवाना, पर यह झण्डा न नीचे झुकाना’ नामक प्रसिद्ध गीत के रचयिता थे -- जयनारायण व्यास
- हीरालाल शास्त्री
- ✓ विजयसिंह पथिक
- तेजकवि
11. सरदार कुदरत सिंह का सम्बन्ध किससे है ?- ब्ल्यू पोटरी
- ✓ मीनाकारी
- तलवार बाजी
- घुड़सवारी
सरदार कुदरत सिंह मीनाकारी में विशेष उपलब्धि हेतु 1988 में पद्मश्री से सम्मानित हो चुके है।12. रिडकोर का कार्य है।- पर्यटन सुविधा झुटाना
- ✓ सड़क निर्माण
- झील संरक्षण
- कन्टेनर संचालन
13. राजस्थान राज्य औद्योगिक विकास एवं विनियोजन निगम लि. (रीको) के उद्देश्यों में शामिल नहीं है-- उद्योग विकास केन्द्रों की स्थापना करना
- औद्योगिक क्षेत्रों का विकास करना
- ✓ लघु उद्योगों को कच्चे माल की आपूर्ति करना
- मध्यम व बड़े उद्योगों को वित्तीय सहायता देना
14. खेतड़ी का तांबा संयंत्र अमेरिकी कंपनी के सहयोग से और देवारी का जस्ता संयंत्र ब्रिटेन के सहयोग से 60 के दशक में स्थापित किया गया। अब देबारी संयंत्र का अधिकांश हिस्सा इस समूह को बेच दिया गया है।- ✓ वेदान्ता
- रिलायन्स
- टाटा
- बिड़ला
15. हिन्दुस्तान कॉपर लि. राजस्थान में खनिज तांबे के गलन एवं शोधन का कार्य करने वाला भारत सरकार का सार्वजनिक उपक्रम है। इसका मुख्यालय कहां है?- दिल्ली
- ✓ कोलकाता
- मुम्बई
- चैन्नई
हिन्दुस्तान कॉपर लिमिटेड की स्थापना कोलकाता में 9 नवम्बर,1967 को हुई थी । यह भारत की एकमात्र शीर्षस्थ एकीकृत बहु इकाई ताम्र उत्पादक कंपनी है जो ताम्र कैथोड, निरंतर ढलाई वायर रॉड और वायर बार के खनन, सज्जीकरण, प्रगालन, परिष्करणन और निर्माण के बहुत सारे कार्य करती है ।16. 2007 की पशुगणना के अनुसार राजस्थान में मुर्गियों की संख्या लगभग है।- 30 लाख
- ✓ 50 लाख
- 70 लाख
- 80 लाख
17. फाल्गुन में भरने वाला पशुमेला है -- चन्द्रभागा पशुमेला, झालरापाटन
- जसवन्त पशुमेला, भरतपुर
- रामदेव पशुमेला, नागौर
- श्री शिवरात्रि पशुमेला, करौली
18. 2007 की पशुगणना में जिस पशु की संख्या में सर्वाधिक प्रतिशत वृद्धि हुई है, वह है -- गाय
- ✓ बकरी
- भेड़
- भैंस
19. राणा के प्रताप के प्रसिद्ध घोड़े चेतक के वंशज यहां पर तैयार किये जाने की योजना चल रही है- मनोहर थाना
- ✓ बीकानेर
- उदयपुर
- सांचोर
20. होली के तेरह दिनों बाढ रंग तेरस पर माण्डल कस्बे में यह नृत्य किया जाता है -- ✓ नाहर
- बिन्दौरी
- चकरी
- घूमर
भीलवाडा से 14 किलोमीटर दूर स्थित माण्डल कस्बे में प्राचीन स्तम्भ मिंदारा पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण हैं। यहाँ से कुछ ही दूर मेजा मार्ग पर स्थित प्रसिद्ध जगन्नाथ कछवाह की बतीस खम्भों की विशाल छतरी ऐतिहासिक एवं पुरातात्विक महत्व का स्थल हैं। छह मिलोकमीटर दूर भीलवाडा का प्रसिद्ध पर्यटन स्थल मेजा बांध हैं। होली के तेरह दिन पश्चात रंग तेरस पर आयोजित नाहर नृत्य लोगों के आकर्षण का प्रमुख केन्द्र होता हैं। कहते हैं कि शाहजहाँ के शासनकाल से ही यहाँ यह नृत्य होता चला आ रहा हैं। यहां के तालाब के पाल पर प्राचीन शिव मंदिर स्थित है। जिसे भूतेश्वर महादेव के नाम से जाना जाता है।21. राजस्थान में किस नदी के किनारे सवाई भोज द्वारा निर्मित मंदिर है ?- मेनाल
- ✓ खारी
- मानसी
- बनास
22. राजस्थान व मध्य प्रदेश के ये जिले पड़ोसी राज्यों से दो विपरीत दिशाओं में सीमा बनाते हैं -- बाँसवाड़ा, मन्दसौर
- ✓ कोटा, रतलाम
- धौलपुर, ग्वालियर
- झालावाड़, गुना
23. ईरा, चाप और मोरन, किस नदी की सहायक है ?- बनास
- चम्बल
- लूनी
- ✓ माही
24. जून 2011 में सूखा सम्भाव्य क्षेत्र कार्यक्रम कितने ज़िलों में लागू रहा ?- 14
- ✓ 11
- 13
- 12
25. स्व- जलधारा कार्यक्रम का उद्देश्य है -- पर्यटन सुविधा
- ✓ पेयजल सुविधा
- नदी संरक्षण
- सिंचाई सुविधा
ग्रामीण जनता की पेय-जल की समस्या को हल करने के लिए केन्द्र सरकार द्वारा स्व-जलधारा कार्यक्रम चलाया जा रहा है। इसके अंतर्गत १० प्रतिशत समुदाय या ग्राम-पंचायत की भागीदारी होगी और ९० प्रतिशत केन्द्र सरकार पैसा देगी।......................................................................................1. उस्ता कला को बीकानेर के यही शासक भारत में लाये थे -- कर्णसिंह
- दलपतसिंह
- ✓ रायसिंह
- लूणकरण
उस्ता कला - मध्य एशिया में भव्य महलों, भवनों को विभिन्न प्रकार के फूंलों पत्तों के चित्रों से सजावट का प्रचलन रहा है। फूलों-पतों के इस संयोजन में सुनहरी मनोवत तथा प्राकृतिक रंगो के मेल ने भवनों की दीवारो, छातों, स्तंभों, झरोखों, दरवाजों, मेहराबों, मीनारों को सुसज्जित किया। मध्यकाल में यही कला भारत में मुगल दरबारों में स्थपित हुई है। मुगल काल की ऐतिहासिक इमारतों में ईरानी शैली का यह चित्रांकन आज भी धुधलके में लिपटा है। मुगल दरबारों से यह कला उनके राजाओं के राज्यों में पहुँची तो वही स्थायी हो गयी।
बीकानेर में छठे राजा रायसिंह के मुगल सम्राट अकबर से प्रगाढ सम्बन्ध थे। यह सम्बन्ध पीढी दर पीढी चलता रहा। इसी दौरान मुगलों की कला संस्कृति बीकानेर पहुच गयी। इस कला ने उस्ता जाति के कलाकारों के माध्यम से रेगिस्तान के महलों, हवेलियों, मंदिरों को इन्द्रधनुषी बना दिया।2. ज्वलनशील चूना पत्थर का राज्य में सर्वाधिक उत्पादन किस ज़िले में होता है -- पाली
- चित्तौड़
- सिरोही
- ✓ नागौर
चूना पत्थर एक अवसादी चट्टान है जो, मुख्य रूप से कैल्शियम कार्बोनेट (CaCO3) के विभिन्न क्रिस्टलीय रूपों जैसे कि खनिज केल्साइट और/या एरेगोनाइट से मिलकर बनी होती है।3. छापरवाड़ा वृद्ध सिंचाई परियोजना का सम्बन्ध किस ज़िले से है ?- ✓ जयपुर
- उदयपुर
- टोंक
- झालावाड़
4. आमेर में जगतशिरोमणी मंदिर और वृन्दावन में गोविंद देव जी के मंदिर बनवाने वाले आमेर के शासक थे -- जयसिंह प्रथम
- माधोसिंह प्रथम
- जयसिंह द्वितीय
- ✓ मानसिंह प्रथम
5. गलत युग्म है -- स्वांगिया माता-जैसलमेर
- शिलादेवी -जयपुर
- नारायणी माता-अलवर
- ✓ सुगाली माता-जोधपुर
सुगाली माता का मंदिर आउवा, पाली में है न कि जोधपुर में।6. राजस्थान द्वारा उत्पादित ऊर्जा में तापीय विद्युत के बाद दूसरा स्थान है -- पवन ऊर्जा का
- परमाणु ऊर्जा का
- सौर ऊर्जा का
- ✓ जल विद्युत का
7. कच्छी घोड़ी नृत्य के साथ बजता है -- मंजीरा
- ✓ झांझ
- थाली
- चिमटा
झांझ - कांसे, तांबे व जस्ते के मिश्रण से बने दो चक्राकार चपटे टुकङों के मध्य भाग में छेद होता है। मध्य भाग के गड्डे के छेद में छोरी लगी रहती है। डोरी में लगे कपड़े के गुटको को हाथ में पकङ्कर परस्पर आधातित करके वादन किया जाता है। यह गायन व नृत्य के साथ बजायी जाती है।8. राष्ट्रीय राजमार्ग 12 पर स्थित शहरों में शामिल नहीं है-- टोंक
- कोटा
- ✓ भीलवाड़ा
- झालावाड़
9. अलाउद्दीन खिलजी ने इस स्थान का नाम अपनी जीत पर बदलकर ‘जलालाबाद’ रख दिया था -- चित्तौड़
- ✓ जालोर
- रणथम्भौर
- सिवाना
10. इंदिरा गांधी नहर परियोजना को कुल आवंटित पानी कितने मिलियन एकड़ फीट है -- 3.7
- ✓ 7.6
- 10.2
- 0.5
11. पाकिस्तान के पंजाब प्रांत से लगते हमारे ज़िलों में शामिल नहीं है -- ✓ बाड़मेर
- बीकानेर
- जैसलमेर
- गंगानगर
12. कदम्बदास या कैमास, किसके प्रमुख सहायक थे ?- राणा सांगा
- राणा कुम्भा
- विग्रहराज चतुर्थ
- ✓ पृथ्वीराज तृतीय
पृथ्वीराज चौहान का सेनापति दाहिमा वंशी कैमास था।13. कॉल बेड मिथेन के लिए सांचोर में 2 ब्लॉक इस कम्पनी को आवंटित हुए है -- ओ.एन.जी.सी.
- ✓ रिलायंस
- फोकस एनर्जी
- केयर्न एनर्जी
14. राज्य में धनिये का सर्वाधिक उत्पादन इस ज़िले में होता है।- कोटा
- बूंदी
- झालावाड़
- ✓ बारां
15. राजस्थान की 2011-12 की वार्षिक योजना में ऊर्जा व सामाजिक -सामुदायिक सेवाओं के बाद किस पर सर्वाधिक खर्च प्रस्तावित है ?- परिवहन
- सिंचाई
- ✓ ग्रामीण विकास
- उद्योग
16. भीलवाड़ा के बाद सीसा-जस्ता का दूसरा प्रमुख उत्पादक जिला है।- ✓ राजसमन्द
- चित्तौड़
- अजमेर
- उदयपुर
17. 11वीं पंचवर्षीय योजना में राजस्थान में कुल प्रजनन दर का लक्ष्य रखा गया है।- 3.9
- 4.3
- ✓ 2.1
- 0.5
18. कांच कशीदे को प्रोत्साहन देने के लिए किस जगह कलस्टर परियोजना शुरू की गई है ?- अकोला, चित्तौड़
- ✓ धनाऊ, बाड़मेर
- नायला, जयपुर
- कैथून, कोटा
19. धौलपुर की झील है।- जैतसागर
- ✓ तालाबशाही
- सिलीसेढ्
- गैपसागर
20. मध्यम एवं वृद्ध औद्योगिक इकाईयों की संख्या की दृष्टि से राज्य में उतरता क्रम सही है -- जयपुर, कोटा, भीलवाड़ा, जोधपुर
- भीलवाड़ा, जयपुर, अलवर, जोधपुर
- ✓ अलवर, भीलवाड़ा, जयपुर, उदयपुर
- कोटा, जयपुर, अजमेर, जोधपुर,
21. माध्यमिक शिक्षा अभियान को किस ऐजेन्सी से सहायता मिल रही है?- ✓ विश्व बैंक
- ए.डी.बी.
- जापान अंतर्राष्ट्रीय सहयोग ऐजेन्सी
- के.एफ. डब्ल्यू.
22. बांडी-सिणधरा मध्यम सिंचाई परियोजना का सम्बन्ध किस जिले से है -- बाड़मेर
- पाली
- सिरोही
- ✓ जालोर
23. राजस्थान के 2011-12 के बजट में बिक्री कर के बाद दूसरा महत्वपूर्ण राजस्व का स्रोत किसे बताया गया है ?- केन्द्रीय उत्पाद शुल्क
- आयकर
- ✓ निगम कर
- राज्य आबकारी कर
24. राजस्थान जल क्षेत्र पुनर्सरचंना कार्यक्रम को सहयोग दे रहा है-- नाबार्ड
- ✓ विश्व बैंक
- ए.डी.बी.
- फ्रांस
25. ‘विश्वास’ योजना का सम्बन्ध है -- ✓ विकलांगों से
- पिछड़ी जातियों से
- बच्चों से
- महिलाओं से
निशक्तों को आत्मनिर्भर बनाने व उन्हें स्वरोजगार के लिए आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाने की राज्य सरकार की सामाजिक न्याय व अधिकारिता विभाग की महत्ती योजना है "विश्वास योजना" ।......................................................................................1. मीरा-महोत्सव का आयोजन किस जिले में किया जाता है ?- उदयपुर में
- ✓ चित्तौड़गढ़ में
- बांसवाड़ा में
- कोटा में
मीरा-महोत्सव मीरा स्मृति संस्थान, चित्तौड़गढ द्वारा मीरा बाई के जन्म दिवस पर प्रत्येक वर्ष शरद पूर्णिमा से तीन दिवस के लिए मनाया जाता है।2. जयपुर की इमारतों पर गुलाबी रंग करवाने का श्रेय इन्हें दिया जाता है -- सवाई मानसिंह
- कल्याण सिंह
- ✓ सवाई रामसिंह द्वितीय
- मिर्जा राजा जयसिंह
1853 में जब वेल्स के राजकुमार आए तो महाराजा रामसिंह के आदेश से पूरे शहर को गुलाबी रंग से रंग जादुई आकर्षण प्रदान करने की कोशिश की गई थी। उसी के बाद से यह शहर 'गुलाबी नगरी' के नाम से प्रसिद्ध हो गया। सुंदर भवनों के आकर्षक स्थापत्य वाले, दो सौ वर्ग किलोमीटर से अधिक क्षेत्रफल में फैले जयपुर में जलमहल, जंतर-मंतर, आमेर महल, नाहरगढ़ का किला, हवामहल और आमेर का किला राजपूतों के वास्तुशिल्प के बेजोड़ नमूने हैं।3. विश्व की सबसे बड़ी तोप किस किले में स्थित है ?- चित्तौड़गढ़ दुर्ग
- मेहरानगढ़ दुर्ग
- ✓ जयगढ़ दुर्ग
- नाहरगढ़ दुर्ग
जयपुर के जयगढ़ स्थित किले पर पहियों पर रखी जयबाण तोप विश्व की सबसे बड़ी तोप के रूप में प्रसिद्ध है।4. गालव ऋषि का आश्रम जो वर्तमान में "मंकी वैली" के उपनाम से प्रसिद्ध है -- पंचकुर
- ✓ गलता
- पुष्कर
- चावंड
ऋषि गालव की पवित्र तपोभूमि गलता जयपुर स्थित एक प्रमुख तीर्थस्थल माना जाता है।5. रमकडा उद्योग (सोप स्टोन के तराशे हुए खिलौने) किस जिले के प्रसिद्ध हैं ?- बीकानेर
- हनुमानगढ़
- ✓ डूंगरपुर
- नागौर
डूंगरपुर ग्रीन मार्बल एवं सोप स्टोन के वैश्विक निर्यात हेतु प्रसिद्ध है।6. हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड, उदयपुर के जिंक स्मेल्टर राजस्थान में कहां स्थित हैं ?- चंदेरिया, अकोला, देबारी
- देबारी, अकोला
- ✓ देबारी, चंदेरिया
- चंदेरिया, अकोला
7. किस झील पर शाहजहां द्वारा 1627 ई. में बारहदरियों का निर्माण किया गया ?- फतेहसागर झील
- ✓ आना सागर झील
- कोलायत झील
- सांभर झील
सम्राट शाहजहाँ ने सन् 1627 में सम्राट पृथ्वीराज चौहान के पिता 'राजा अरणो रा आनाजी' द्वारा 1135 से 1150 के बीच निर्मित आनासागर झील, अजमेर में लगभग 1240 फीट लम्बा कटहरा लगवाकर और बेहतरीन संगमरमर की पांच बारहदारियाँ बनवाई थी। साथ ही यहाँ शाहजहाँ ने झील की पाल पर संगमरमर की सुंदर बारहदरी का निर्माण करवाया था।8. राजस्थान के प्रथम वित्त मंत्री कौन थे ?- जमनालाल बजाज
- ✓ चंदनमल बैद
- हीरालाल शास्त्री
- टीकाराम पालीवाल
9. देव सोमनाथ मेला किस जिले में भरता है ?- भीलवाड़ा
- हनुमानगढ़
- ✓ डूंगरपुर
- श्रीगंगानगर
देव सोमनाथ डूंगरपुर से 24 किमी. उत्तर-पूर्व में स्थित है। देव सोमनाथ सोम नदी के किनार बना एक प्राचीन शिव मंदिर है। मंदिर के बार में माना जाता है कि इसका निर्माण विक्रम संवत 12 शताब्दी के आसपास हुआ था।10. राजस्थान में दरियां बनाने का काम किस स्थान पर विशेष रूप से किया जाता है ?- लेटा [जालोर]
- तनसुख [जोधपुर]
- खंडेला [सीकर]
- ✓ टांकला [नागौर]
नागौर के टांकला की दरियां, यहां के हस्त औजार, मकराना मार्बल उत्पाद ने पूरे देश में अपनी पहचान बनाई है।11. मारवाड़ का लघु माउंट कौन-सा स्थान कहलाता है ?- डीडवाना [नागौर]
- रणथम्भौर [स. माधोपुर]
- फतेहपुर शेखावाटी [सीकर]
- ✓ पीपलूट [बाड़मेर]
12. भारत का सर्वाधिक ऊन उत्पादक राज्य है -- गुजरात
- उत्तरप्रदे
- ✓ राजस्थान
- मध्यप्रदेश
देश के कुल ऊन उत्पादन में सर्वाधिक 40 प्रतिशत योगदान राजस्थान का है। एशिया की सबसे बडी ऊन की मण्डी बीकानरे में स्थित है।13. राजस्थान राज्य अभिलेखागार कहां स्थित है ?- जयपुर
- ✓ बीकानेर
- उदयपुर
- जोधपुर
बीकानेर स्थित राजस्थान राज्य अभिलेखागार देश के सबसे अच्छे और विश्व के चर्चित अभिलेखागारों में से एक है. इस अभिलेखागार की स्थापना 1955 में हुई और यह अपनी अपार व अमूल्य अभिलेख निधि के लिए प्रतिष्ठित है।14. राजस्थान प्राच्य विद्या प्रतिष्ठान कहां स्थित है ?- ✓ जोधपुर
- दौसा
- अजमेर
- सीकर
राजस्थान प्राच्य विद्या प्रतिष्ठान की स्थापना जोधपुर में सन् 1950 में की गई थी।15. अमेरिकन कपास राजस्थान के किस जिले में होती है ?- ✓ श्रीगंगानगर
- सीकर
- दौसा
- भरतपुर
राजस्थान के श्रीगंगानगर व हनुमानगढ़ जिलों में अमेरिकन कपास प्राप्त की जाती है।16. राज्य में तहसीलों की सर्वाधिक संख्या किस जिले में है ?- जोधपुर
- उदयपुर
- ✓ जयपुर
- गंगानगर
17. राजस्थान में रॉक फॉस्फेट कहां पाया जाता है ?- ✓ उदयपुर
- बांसवाड़ा
- भीलवाड़ा
- रामपुरा
18. राजस्थान का खेल नृत्य है -- झूमर
- झूमरा
- ✓ नेजा
- लांगुरिया
19. उत्तर भारत का सर्वप्रथम पूर्ण साक्षर जिला है-- झांसी
- ✓ अजमेर
- कानपुर
- मंदसौर
20. तारकशी के जेवर के लिए प्रसिद्ध है-- ✓ नाथद्वारा
- भीनमाल
- ददरेवा
- देशनोक
21. राजस्थान में तीन साके किस जिले में हुए हैं ?- ✓ चित्तौड़
- जालौर
- सीकर
- जैसलमेर
चित्तौड़ में सर्वाधिक तीन साके हुए है -प्रथम साका - यह सन् 1303 में राणा रतनसिंह के शासनकाल में अलाउद्दीन खिलजी के चित्तौड़ पर आक्रमण के समय हुआ था। इसमें रानी पद्मनी सहित स्त्रियों ने जौहर किया था।द्वितीय साका - यह 1534 में राणा विक्रमादित्य के शासनकाल में गुजरात के सुल्तान बहादुरशाह के आक्रमण के समय हुआ था। इसमें रानी कर्मावती के नेतृत्व में स्त्रियों ने जौहर किया था।तृतीय साका - यह 1567 में राणा उदयसिंह के शासनकाल में अकबर के आक्रमण के समय हुआ थाजिसमें जयमल और फत्ता के नेतृत्व में चित्तौड़ की सेना ने मुगल सेना का जमकर मुकाबला किया और स्त्रियों ने जौहर किया था।22. "उस्ताद" कहलाने वाले चित्रकारों ने भित्ति चित्र किस नगर में बनाए हैं ?- उदयपुर में
- ✓ बीकानेर में
- जयपुर में
- जोधपुर में
23. राज्य में सर्वाधिक पंचायत समितियां किस जिले में हैं ?- जैसलमेर
- सिरोही
- जयपुर
- ✓ अलवर
24. राज्य में सर्वाधिक संरक्षित वन भूमि वाले जिले हैं ?- स. माधोपुर व अलवर
- चित्तौड़ व बांसवाड़ा
- जोधपुर व सिरोही
- ✓ बारां व करौली
25. राजीव गांधी जनसंख्या मिशन की स्थापना कब की गई ?- 15 जुलाई 2001
- 25 जुलाई 2001
- ✓ 05 जुलाई 2001
- 08 जुलाई 2001
राजीव गांधी जनसंख्या मिशन की स्थापना 05 जुलाई 2001 को वर्ष 2011 तक प्रजनन दर 2.1 प्राप्त करना निर्धारित किया गया था। इस मिशन का उद्देश्य जनसंख्या स्थिरीकरण के लिए कार्य योजना बनाकर जनसंख्या वृद्धि पर नियंत्रण प्राप्त करना रखा गया।..............................................................................................................................................1. 1920 में भीलों व किसानों में पूर्ण एकता स्थापित करने के मुख्य उद्देश्य को लेकर एक्की आंदोलन प्रारम्भ करने वाले थे -- विजय सिंह पथिक
- गोविन्द गुरु
- ✓ मोतीलाल तेजावत
- माणिक्य लाल वर्मा
यह आंदोलन 1920 में माद्री पट्टा तथा जलसा में अनुचित लाग-बागों और बैठ-बेगार के विरोध में आरंभ किया गया था। भील आंदोलन का दूसरा चरण मोतीलाल तेजावत के नेत्रत्व में चले एकी आंदोलन के रूप में चला। यह आंदोलन भील क्षेत्र भोमट में चलाया गया था अतः इसे भोमट भील आंदोलन के आंदोलन के नाम से जाना जाता है। भीलों में एकता स्थापित करने के इस अभियान को ही एकी आंदोलन कहा जाता है।2. 'लांगूरिया' का संबंध किस देवी से है ?- शीतला माता
- औसियां माता
- शाकम्भरी माता
- ✓ कैलादेवी
करोली स्थित कैलादेवी मंदिर के सामने प्रांगण में गणेशजी व भैरवजी की मूर्तियां हैं जिन्हे प्राकृत बृज भाषा में 'लांगूरिया' कहते है। इनके भक्त इनकी अराधना में 'लांगूरिया' गीत गाते है।3. इस पेड़ का सिर तपती आग में और पैर बहते पानी में डूबे होने चाहिए । राजस्थान में इस पेड़ के विकास की संभावनाओं को देखते हुए 1955 से ही बीकानेर में अनुसंधान केन्द्र स्थापित कर दिया गया था। यह पेड़ है -- नीम
- ✓ खजूर
- शहतूत
- आम
4. राजस्थान में 1857 के विद्रोह की शुरूआत इस दिन और इस स्थान से हुई -- 03 जून, नीमच
- 23 अगस्त, एरिनपुरा
- 09 अगस्त, अजमेर
- ✓ 28 मई, नसीराबाद
सबसे पहले नसीराबाद में इस विद्रोह की शुरू आत हुई थी। इसके पीछे मुख्य कारण यह था कि ब्रिटिश सरकार ने अजमेर की 15वीं बंग़ाल इन्फ़ेन्ट्री को नसीराबाद भेज दिया था क्योंकि सरकार को इस पर विश्वास नहीं था। सरकार के इस निर्णय से सभी सैनिक नाराज हो गये थे और उन्होंने ब्रिटिश सरकार के खिलाफ़ क्रांति का आगाज कर दिया। इसके अतिरिक्त ब्रिटिश सरकार ने बम्बई के सैनिकों को नसीराबाद में बुलवाया और पूरी सेना की जंाच पड़ताल करने को कहा। ब्रिटिश सरकार ने नसीराबाद में कई तोपे तैयार करवाई। इससे भी नसीराबाद के सैनिक नाराज हो गये और उन्होंने विद्रोह कर दिया। सेना ने कई ब्रितानियों को मौत के घाट उतार दिया साथ ही साथ उनकी सम्पत्ति को भी नष्ट कर दिया। इन सैनिकों के साथ अन्य लोग भी शामिल हो गये।5. मीरां की तरह यह शहजादी भी कृष्ण की उपासिका थी । शहजादी ताज बेगम के गुरु विट्ठल नाथ थे। कहाँ की शहजादी थी, ताज बेगम -- टोंक
- झुंझुनूं
- ✓ फतेहपुर
- तिजारा
6. अलवर जिले में स्थित ऊँची पर्वत चोटियां हैं -- ✓ भैराच, बैराठ
- बैराठ, मनोहरपुर
- बबई, रघुनाथगढ़
- बरवाड़ा, नाहरगढ़
भैराच (७९२ मीटर), बैराठ (७०४ मीटर) अलवर जिले में स्थित है।7. जर्मनी की एक संस्था के.एफ.डब्ल्यू के सहयोग से राजस्थान के इस जिले में ‘आपणी योजना’ से जनता लाभान्वित हो रही है। पेयजल की इस योजना में जन भागीदारी से प्रबन्ध को सुगम बनाया गया है -- ✓ चुरू
- जोधपुर
- पाली
- बीकानेर
चूरू व हनुमानगढ जिले के 345 गांवों में जर्मनी की एक संस्था के.एफ.डब्ल्यू के सहयोग से राजस्थान के इस जिले में ‘आपणी योजना’ से जनता लाभान्वित हो रही है। इस योजना के तहत हनुमानगढ जिले की नोहर तहसील के 119 और चूरू जिले की चार तहसीलों सरदारशहर, तारानगर, चूरू व राजगढ के 226 गांव जुडे हुए हैं।8. कांतली नदी के तट पर स्थित इस सभ्यता में पत्थर के मकान बनाये जाते थे, ईंटों से नहीं। उत्खनन में यहां पर चित्रित कपिष वर्णी मृद् पात्र, ताबें आयुध, उपकरण, आभूषण आदि प्राप्त हुए हैं। यह सभ्यता है -- बैराठ
- जोधपुर
- कालीबंगा
- ✓ गणेश्वर
गणेश्वर, राजस्थान के सीकर ज़िला के अंतर्गत नीम-का-थाना तहसील में ताम्रयुगीन संस्कृति का एक महत्त्वपूर्ण स्थल है। गणेश्वर से प्रचुर मात्रा में जो ताम्र सामग्री पायी गयी है, वह भारतीय पुरातत्त्व को राजस्थान की अपूर्व देन है। ताम्रयुगीन सांस्कृतिक केन्द्रों में से यह स्थल प्राचीनतम स्थल है। खेतड़ी ताम्र भण्डार के मध्य में स्थित होने के कारण गणेश्वर का महत्त्व स्वतः ही उजागर हो जाता है। यहाँ के उत्खनन से कई सहस्त्र ताम्र आयुध एवं ताम्र उपकरण प्राप्त हुए हैं। इनमें कुल्हाड़ी, तीर, भाले, सुइयाँ, मछली पकड़ने के काँटे, चूड़ियाँ एवं विविध ताम्र आभूषण प्रमुख हैं। इस सामग्री में 99 प्रतिशत ताँबा है। ताम्र आयुधों के साथ लघु पाषाण उपकरण मिले हैं, जिनसे विदित होता है कि उस समय यहाँ का जीवन भोजन संग्राही अवस्था में था। यहाँ के मकान पत्थर के बनाये जाते थे। पूरी बस्ती को बाढ़ से बचाने के लिए कई बार वृहताकार पत्थर के बाँध भी बनाये गये थे। कांदली उपत्यका में लगभग 300 ऐसे केन्द्रों की खोज़ की जा चुकी हैं, जहाँ गणेश्वर संस्कृति पुष्पित-पल्लवित हुई थी।9. इस देश का क्षेत्रफल राजस्थान के क्षेत्रफल के लगभग बराबर है -- इजराइल
- ब्रिटेन
- ✓ जर्मनी
- जापान
राजस्थान का क्षेत्रीय विस्तार 3,42,239 वर्ग किलोमीटर में है जो भारत के कुल क्षेत्र का 10.43 प्रतिशत है। अतः क्षेत्रफल की दृष्टि से यह भारत का सबसे बड़ा राज्य है। क्षेत्रफल की दृष्टि से यह विश्व के अनेक देशों से बड़ा है, उदाहरण के लिये इजराइल ( 20,700 किलोमीटर ) से 17 गुना, श्रीलंका से पांच गुना तथा ग्रेट ब्रिटेन ( 229848 वर्ग किलोमीटर ) नार्वे, पोलैण्ड, इटली से भी अधिक विस्तार रखता है। जापान ( 374,834 वर्ग किलोमीटर (भूमी) ) और जर्मनी ( 357,021 वर्ग किलोमीटर) का क्षेत्रफल राजस्थान के क्षेत्रफल से थोड़ा अधिक है। इसप्रकार जर्मनी सही जवाब है।10. ये देश उन्हीं अक्षांशों पर स्थित हैं, जिन पर राजस्थान प्रदेश है -- स्वीटजरलैंड, बेल्जियम, स्वीडन
- थाइलैण्ड, मलेशिया, सिंगापुर
- ✓ अल्जीरिया, लीबिया,मिश्र
- सोमालिया, इथोपिया, घाना
11. रसोईघर में काम आने वाले बर्तन ‘हाटड़ो’ (हटड़ी) में क्या संग्रह करके रखा जाता है -- दही
- आटा
- दूध
- ✓ नमक-मिर्च मसाले
12. ऊन की गुणवत्ता एवं उपयोगिता का विश्लेषण करने के लिए इसके अध्ययन एवं नमूनों की जांच करने की सुविधा केन्द्रीय ऊन विश्लेषण प्रयोगशाला में है। यह प्रयोग शाला प्रदेश में कहां स्थापित की गई है -- ✓ बीकानेर
- जोधपुर
- टोंक
- ब्यावर
13. निर्यात को बढ़ावा देने के लिए प्रदेश में निर्यात संवर्द्धन औद्योगिक पार्कों की स्थापना की गई है। सीतापुरा (जयपुर) बोरानाडा (जोधपुर) तथा नीमराना (अलवर) में स्थापित इन पार्कों के लिए प्रदेश को सहायता दी है -- विश्व बैंक ने
- जापान ने
- ✓ केन्द्र सरकार ने
- भारतीय औद्योगिक विकास बैंक ने
सीतापुर (जयपुर) में देश का पहला निर्यात संवर्द्धन पार्क है।14. हमीदुदीन चिश्ती को मिट्ठे साहब के नाम से जनमानस में प्रसिद्धि मिली थी। इनकी दरगाह किस दुर्ग के भीतर स्थित है -- मांडलगढ़
- तारागढ़
- चित्तौड़गढ़
- ✓ गागरोन
15. परमारों के शासन का प्रमाण बसन्तगढ़ का जीणशीर्ण दुर्ग इस जिले में स्थित है -- जालोर
- अजमेर
- टोंक
- ✓ सिरोही
16. राष्ट्रीय राजमार्ग 8,79,89 किस स्थान पर मिलते हैं ?- जोधपुर
- जयपुर
- उदयपुर
- ✓ अजमेर
17. चित्रकला संग्रह सरस्वती भंडार कहां स्थित है -- ✓ उदयपुर
- जोधपुर
- जयपुर
- अलवर
18. DOTS कार्यक्रम विश्व बैंक और विश्व स्वास्थ्य संगठन के सहयोग से इस रोग को नियंत्रित करने के लिए 1995 से संचालित है -- एड्स
- नारू
- ✓ क्षय रोग
- कैन्सर
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO ) द्वारा मान्यता प्राप्त टी.बी. या तपेदिक उपचार के कार्यक्रम को ‘डॉट्स’ (DOTS- Directly Observed Treatment Short-course) कहते हैं ।19. कंकड़-पत्थर से ढक़े मरूस्थलीय भाग को कहते हैं -- मरहो
- अर्ग
- हम्मादा
- ✓ रेग
रेग चट्टानी मरुस्थल के लिए प्रयुक्त अरबी शब्द है। यह पवन द्वारा निक्षेपित बजरी से आच्छादित मरुस्थलीय मैदान होता है। केशिका क्रिया द्वारा सतह पर आने वाले लवणों से संयुक्त होकर बजरी प्रायः सतह पर चिपकी रहती है। इसके उदाहरण लीबिया, अल्जीरिया, मिश्र आदि के मरुस्थलों में मिलते हैं। इसे बजरी मरुस्थल (gravel desert) भी कहते हैं।20. मारवाड़ के किसानों को लागतों तथा बेगारों के विरूद्ध जाग्रत करने के लिए ‘मारवाड़ हितकारिणी सभा’ की स्थापना 1923 में की गई थी। इसके संस्थापक थे -- बलदेव राम मिर्धा
- ✓ जयनारायण व्यास
- कुंभा राम आर्य
- विजय सिंह पथिक
जयनारायण व्यास के नेतृत्व में मारवाड़ हितकारिणी सभा ने जोधपुर में उत्तरदायी शासन की माँग की तथा दो पुस्तकों- जैसे मारवाड़ की अवस्था और पोपनबाई की पोल प्रकाशित की, जिसमें राज्य सरकार की आलोचना की गई थी। जयनारायण व्यास व आनन्दराज सुराणा को बन्दी बनाकर राज्य सरकार ने दमनचक्र चलाया। १९३१ में इन नेताओं को रिहा कर दिया गया। सविनय अवज्ञा आंदोलन आरंभ होने पर इन नेताओं ने जोधपुर युवक लीग का गठन किया और स्वदेशी का प्रचार व हड़तालें कीं। नेताओं को पुनः बन्दी बना कर मारवाड़ हितकारिणी सभा को अवैध घोषित कर दिया गया।21. राज्य की पहली पवन ऊर्जा परियोजना जैसलमेर में शुरू की गई थी। दूसरी परियोजना इस जिले में स्थापित की गई थी -- जोधपुर
- बाड़मेर
- ✓ प्रतापगढ़
- सीकर
22. गैर परम्परागत ऊर्जा स्रोतों के विकास, परिवहन तथा विद्युत सयंत्रों की स्थापना हेतु राजस्थान अक्षय ऊर्जा निगम की स्थापना किस वर्ष में की गई थी -- 2007
- 1980
- ✓ 2002
- 1990
23. बूंदी के कजली तीज माता मेले का मुख्य आकर्षण यह नृत्य रहता है -- भवई
- ✓ चकरी
- घूमर
- हाथीमना
यह नृत्य हाड़ौती अंचल (कोटा,बारां और बूंदी) की कंजर जाति की बालाओं द्वारा विभिन्न अवसरों विशेषकर विवाह के आयोजन पर किया जाता है। इसमें नर्तकी चक्कर पर चक्कर घूमती हुई नाचती है तो उसके घाघरे का लहराव देखते लायक होता है। लगभग पूरे नृत्य में कंजर बालाएं लट्टू की तरह घूर्णन करती है। इसी कारण इस नृत्य को चकरी नृत्य कहा जाता है। इस नृत्य में ढफ, मंजीरा तथा नगाड़े वाद्य का प्रयोग होता है।24. गाढ़े अपारदर्शक रंगों के प्रयोग की चित्रण पद्धति को कहते हैं -- ✓ टैम्परा पद्धति
- तेल रंग पद्धति
- जल रंग पद्धति
- पेस्टल पद्धति
25. नाग पंचमी का त्योहार विक्रम संवत् के किस महीने में मनाया जाता है -- ✓ श्रावण
- भाद्रपद
- वैशाख
- चैत्र
नाग पंचमी हिन्दुओं का एक प्रमुख त्योहार है । हिन्दू पंचांग के अनुसार सावन माह की शुक्ल पक्ष के पंचमी को नाग पंचमी के रुप में मनाया जाता है । इस दिन नाग देवता या सर्प की पूजा की जाती है और उन्हें दूध पिलाया जाता है।................................................................................................................................1. गलताजी के बाद रामानंद संप्रदाय की दूसरी महत्वपूर्ण पीठ कहाँ है ?- सलेमाबाद
- जोधपुर
- ✓ रेवासा
- जालोर
भक्तमाल में रामानंद जी के बारह शिष्य कहे गए हैं अनंतानंद, सुखानंद, सुरसुरानंद, नरहर्यानंद, भावानंद, पीपा, कबीर, सेन, धाना, रैदास, पद्मावती और सुरसरी। राजस्थान में रामानंन्दी संप्रदाय का श्रीगणेश संत श्री कृष्णदासजी पयहारी ने किया, जो अनन्तानंद जी के परमशिष्य थे। पयहारी ने गलताजी, जयपुर ( जो तत्समयनाथियों का प्रमुख केन्द्र था ) में नाथपंथियों को शास्त्रार्थ में पराजित कर रामानंदी संप्रदाय की पीठ स्थापित की, जो राजस्थान में प्रमुख पीठ है। पयहारीजी के शिष्य उग्रदासजी नें सीकर के पास रेवासा में इस संप्रदाय की अन्य पीठ स्थापित की थी।2. जयपुर के शासक रहे कछवाहा मध्यप्रदेश के नरवर से आये थे। उस समय लगभग संपूर्ण पूर्वी राजस्थान पर, यानि चम्बल के पश्चिमी तरफ किस जातीय समूह का शासन था, जिसके एक शासक के साथ धोखा कर दूल्हा राय कछवाहा ने अपने राज्य की नींव रखी थी ?- ✓ मीणा
- गुर्जर
- ब्राह्मण
- जाट
जयपुर में प्राथमिक रुप से जागीरदारों का विभाजन 'बारह कोटड़ी 'से आधारित था, सरदारों में सबसे मुख्य राजपूत कछवाहा थे, जो राजा के निकट सम्बन्धी होते थे। जयपुर के समीप स्थित आमेर का किला कछवाहा राजपूतों के गौरवशाली इतिहास का गवाह है। आमेर की घाटी में मीणाओं को फतह कर उन्होंने जब आमेर नगरी बसाई तो वहीं एक पहाडी पर उन्होंने भव्य किले का निर्माण कराया था। वही किला आज आमेर फोर्ट के नाम से विख्यात है।3. संगम योजना का सम्बन्ध है-- ✓ विकलांगों से
- पहाड़ियों से
- नदियों से
- विधवाओं से
संगम योजना का उद्देश्य विकलांगों के कल्याण में वृद्धि है।4. ब्राह्मण और भील पुजारी मिल कर इनकी पूजा करते हैं। राजसमन्द के केलवाडा के पास रीछडा में इन लोक देवी का भव्य मंदिर है। ज्येष्ठ शुक्ल अष्टमी को यहाँ भीलों का विशाल मेला भरता है। कौनसी देवी हैं ?- ✓ आमजा माता
- घेवर माता
- बाण माता
- सुगाली माता
5. " साँझी लीला" भी किशनगढ़ शैली का प्रतिनिधि चित्र है , जो निहालचंद ने बनाया था। इस शैली के अन्य चित्रों "बनी ठनी", "दीपावली चित्र", "चाँदनी रात की संगोष्ठी" आदि से इस चित्र को अलग करने वाली बात है -- शुक नासिका
- ✓ राधा की पोशाक में कृष्ण
- कमान जैसी भवें
- मत्स्याकार आँखें
6. जंगी ढोल की तान पर शेर और शिकारी शाम को नृत्य शुरू करते हैं, जो देर रात तक चलता रहता है। शेर और कोई नहीं , रुई लपेटे पुरुष ही होते हैं। बच्चे इस बिखरी रुई को इकट्ठा कर घर ले जाते है। मानते हैं कि बीमार होने पर बच्चों के गले में इस रुई का धागा बांधने से बीमारी ठीक हो जाती है। किस कस्बे में यह स्वांग होता है ?- ✓ मांडल
- भिनाय
- नसीराबाद
- ब्यावर
7. सीता से जुड़े स्थान राजस्थान में कई जगह हैं। बारां में सीता बाड़ी का स्थान अपने विशाल मेले के लिए प्रसिद्ध है , तो इस ज़िले में सीता माता का नाम मशहूर अभयारण्य से जुड़ा है –- ✓ प्रतापगढ़
- बूंदी
- बांसवाडा
- उदयपुर
8. उन्होंने उम्र भर गांधारी की तरह आँखों पर पट्टी बाँधे रखी थी। गांधारी अपने पति की अन्धता में सहभागी बनी थी, परन्तु राजस्थान की इन महिला संत ने पट्टी इस लिए बांधी थी, ताकि अपने आराध्य कृष्ण के सिवा किसी अन्य को देखना इन्हें गवारा नहीं था। इन्हें जानते हैं ?- सहजोबाई
- ज्ञानमतीबाई
- ✓ समानबाई
- भूरीबाई
9. मारवाड़ जंक्शन से मावली जंक्शन जब आप रेल से जाते हैं तो रास्ते में अरावली को पार करना होता है। मारवाड़ को मेवाड़ से जोड़ने वाले इस महत्वपूर्ण मार्ग पर स्थित पर्वतीय घाट का नाम क्या है ?- केवड़ा की नाल
- ✓ गोरम घाट
- रतनपुरा घाट
- चीरवा घाट
झीलवाड़ा की नाल , जिसे देसूरी की नालया पगल्या नाम से भी जाना जाता है, मेवाड़ को मारवाड़ से जोड़ती है। मुगलों के समय हल्दीघाटी के युद्ध के पश्चात् मुगलों ने अधिकांश आक्रमण इसी नाल से घुस कर किये। इसके अतिरिक्त मेवाड़ को मारवाड़ से जोडऩे वाली अन्य नाल सोमेश्वर की नाल, हाथीगुड़ा की नाल, भाणपुरा की नाल (राणकपुर का घाटा), कामली घाट, गोरम घाट व काली घाटी है।10. बाणगंगा पर जब अजान बाँध बनाया गया तो, उसके लिए खोदी गयी मिट्टी के कारण एक छिछला तालाब सा बन गया। फिर यहाँ पानी भरा तो घने पेड़ उग आये और पंछियों का बसेरा भी बन गया। पंछियों ने इस जगह का नाम रोशन कर दिया।- ✓ केवलादेव
- रामसागर
- तालाबशाही
- जमवारामगढ़
11. मंडरायल के किले को ग्वालियर की कुंजी कहा जाता था. यह किस जिले में स्थित है?- ✓ सवाई माधोपुर
- करौली
- धोलपुर
- बारां
12. थेवा कला में कांच और सोने की जुगलबंदी देखते ही बनती है। कांच की ज़मीन पर सोने का काम करने वाले सुनारों को कई पुरस्कार भी मिल चुके हैं। इस कला में कांच का रंग अधिकतर होता है ?- लाल
- पीला
- सफेद
- ✓ हरा
थेवा कला में पहले कांच पर सोने की बहुत पतली वर्क या शीट लगाकर उस पर बारीक जाली बनाई जाती है, जिसे थारणा कहा जाता है। दूसरे चरण में कांच को कसने के लिए चांदी के बारीक तार से फ्रेम बनाया जाता है, जिसे "वाडा" कहा जाता है। तत्पश्चात इसे तेज आग में तपाया जाता है। फलस्वरूप शीशे पर सोने की कलाकृति और खूबसूरत डिजाइन उभर कर एक नायाब और लाजवाब कृति का आभूषण बन जाती है।13. शासक को भी कोई देशनिकाला देते हैं ? लेकिन अँग्रेज़ों ने इन सीकर के इन महाशय को चार वर्षों के लिए 1937 में सीकर से बाहर भेज कर जनता को बता दिया कि असली शासक कौन था –- ✓ कल्याण सिंह
- राम सिंह
- फ़तेह सिंह
- शिव सिंह
14. यह इमारती लकड़ी राजस्थान के दक्षिणी भाग में मिलती है और अँग्रेजों ने इसके दोहन के लिए रेल लाइनें तक बिछा दी थी। इसमें मौजूद तेल की खुशबू के कारण दीमक इससे दूर रहती है।- ✓ सागवान
- सेमल
- धोक
- साल
15. राजस्थान का यह स्थान देहली और मुंबई के ठीक बीच में होने से यहाँ एयरपोर्ट ऑथोरिटी ऑफ़ इंडिया ने अपना केंद्र बना रखा है।- उदयपुर
- ✓ प्रतापगढ़
- जयपुर
- कोटा
मुंबई और दिल्ली के हवाई मार्ग के लगभग एकदम बीच में होने की वजह से प्रतापगढ़ शहर के नज़दीक धरियावद मार्ग पर 'एयरपोर्ट ऑथोरिटी ऑफ इंडिया' ने एक 'वी ओ आर स्टेशन' (वायुयान संकेतक केंद्र) स्थापित किया है. राजस्थान सरकार ने अप्रैल २०११ में लगभग २ किलोमीटर लंबी,बड़े जेट विमानों तक के उतरने लायक एक हवाई पट्टी गांव वरमंडल में ( जो मुख्यालय से १२ कि.मी. दूर है ) मंज़ूर की है।16. इस जाति के लोग खुद को कहते तो हिन्दू हैं , परन्तु किसी व्यक्ति के मरने पर उसके शव को जलाने की बजाय गाड़ते हैं। यही नहीं मृतक के मुँह में गंगा जल की जगह शराब की बूँदें भी डालते हैं !- सहरिया
- भील
- सांसी
- ✓ कंजर
17. सटका शरीर के किस अंग का आभूषण है ?- गला
- ✓ कमर
- नाक
- पैर
18. बलदेव, डालू राम और सालिगराम इस चित्र शैली के माने हुए कलाकार रहे हैं। बलदेव ने गुलाम अली के साथ मिल कर प्रसिद्ध चित्र "गुलिस्ताँ" बनाया था, जिस पर उस समय में एक लाख रुपये खर्च हुए थे। सुनहरे रंगों वाली इस चित्र शैली को पहचानिए -- मेवाड़ी
- बूंदी
- मारवाड़ी
- ✓ अलवर
19. जयपुर रियासत ने 1924 में एक कानून बनाकर इस जाति के प्रत्येक परिवार के 12 वर्ष से ऊपर के स्त्री पुरुषों को नजदीक के पुलिस थाने पर रोजाना हाजिरी देना अनिवार्य कर दिया था। कभी इस क्षेत्र के मूल शासक रहे लोगों के लिए यह एक अमानवीय स्थिति थी। 1946 में जाकर इस कानून से बड़े आंदोलनों के बाद छुटकारा पाया जा सका था। कौनसी अभागी जाति थी ?- गुर्जर
- भील
- ✓ मीणा
- जाट
20. कांच की तरह पारदर्शी संगमरमर का यह झूमर गुम्बद से लटकता रहता है। वास्तव में शिल्पी शोभनदेव ने कमाल ही कर दिया था। पूरे में मंदिर में अर्ध विकसित कमल के फूलों सी संगमरमर की ऐसी ही कलाकृतियाँ नजर आती हैं। कहाँ पर देख पाएंगे इस मंदिर को ?- चारभुजा
- रणकपुर
- ✓ आबू
- चित्तौड़
21. विन्ध्य की घाटियों में विचरण करती यह बकरी आपको राजस्थान के पूर्वी भागों में मिलेगी। प्रदेश की आकर में यह सबसे छोटी बकरी है , लेकिन काम चारा खाकर भी यह तुलनात्मक रूप से दूध की मात्रा अधिक देती है। कौनसी नस्ल की हम बात कर रहे हैं ?- जखराना
- लोही
- जमनापारी
- ✓ बारबरी
22. तलवार की नोक को क्या कहते है ?- ✓ अणी
- फाल
- बाढ़
- मूठ
23. इंदिरा गाँधी नहर के बाईं तरफ की जमीन ऊँची होने से उस तरफ पानी पहुँचाने के लिए पानी को लिफ्ट किया जाता है. ऐसी अभी तक सात लिफ्ट नहरें हैं. इनमें सबसे लंबी नहर है?- वीर तेजाजी नहर
- कंवरसेन नहर
- ✓ गुरु जम्भेश्वर नहर
- जयनारायण व्यास नहर
24. मेगा हाई वे परियोजना के संचालन के लिए गठित उपक्रम है-- ✓ रिडकोर
- रेडा
- सिडको
- रीको
मेगा हाइवे परियोजना के क्रियान्वन हेतु राजस्थान सरकार एवं मैसर्स आईएल एंड एफएस के मध्य 50:50 की भगीदारी से एक संयुक्त उपक्रम रोड इन्फास्ट्रक्चर डवलपमेंट आॅफ राजस्थान लिमिटेड ( रिडकोर ) की स्थापना अक्टूबर, 2004 में की गई थी।25. जेलर मगन राज व्यास के कहने पर उम्र कैदी अब्दुल रहमान और उसके साथियों ने भूख हड़ताल पर बैठे इन स्वतंत्रता सेनानी की इतनी पिटाई की कि उनकी पसली ही टूट गयी. पिटाई और तेज गर्मी के कारण इन्हें आये तेज बुखार और दस्त ने आखिर १९ जून १९४२ को इनकी जान ही ले ली, क्योंकि निर्दयी शासन ने उपचार भी नहीं करवाया. कौन थे यह महान सेनानी ?- सागरमल गोपा
- जय नारायण व्यास
- बीरबल सिंह
- ✓ बालमुकुंद बिस्सा
- ...............................................................................
- 1. राजस्थान की स्थलीय सीमा रेखा की लंबाई है -5920 km
2. राजस्थान की अंतर्राष्ट्रीय सीमा से लगने वाले जिलों में सर्वाधिक सीमा किसकी लगती है? बीकानेर
3. कर्क रेखा राजस्थान के किस जिले से होकर गुजरती है? बांसवाड़ा
4. राजस्थान में क्षेत्रफल की दृष्टि से सबसे बड़े जिले स्थित है? पश्चिमी क्षेत्र में
5. राजस्थान की राज्यीय सीमा कितनें राज्यों से मिली हुई है? 5
6. राजस्थान के आक्षांशीय विस्तार के कारण उत्तर से दक्षिण तक तापक्रम में कितना अंतर होता है? 10 डिग्री से.
7. मध्यप्रदेश के साथ राजस्थान के कितनें जिलों की सीमाएं लगती है? 10
8. राजस्थान का आक्षांशीय व देशांतरीय विस्तार क्या है? 23 डिग्री 3 उत्तरी अक्षांश से लेकर 30 डिग्री 12 उत्तरी अक्षांश के मध्य तथा 69 डिग्री 30 पूर्वी देशांतर से 78 डिग्री 17 पूर्वी देशांतर के मध्य
9. राजस्थान का वह जिला जिसकी अंतर्राज्यीय सीमा दो-दो सीमावर्ती राज्यों से मिलती है? भरतपुर और हनुमानगढ़ दोनों की
10. किस जिले की सीमा गुजरात से लगती है? बाड़मेर
11. राजस्थान की अंतर्राष्ट्रीय सीमा से लगने वाले जिलों में सर्वाधिक सीमा रेखा किसकी है? जैसलमेर
12. राजस्थान की पश्चिमी सीमा का कितना भाग पाकिस्तान के साथ अंतर्राष्ट्रीय सीमा बनाता है? 1070 km
13. राजस्थान भारत के किस भाग में स्थित है उत्तर-पश्चिम
14. रेडक्लिफ रेखा का अंतिम (दक्षिणी) छोर बाड़मेर का कौनसा गांव है? शाहगढ़
15. किस राज्य के साथ राजस्थान की सर्वाधिक सीमा लगती है? मध्यप्रदेश
16. राजस्थान का क्षेत्रफल भारत के क्षेत्रफल का कितना प्रतिशत है? 10.41%
17. राजस्थान का दक्षिण में विस्तार बांसवाड़ के किस गांव तक है? बोरकुंड गांव (कुशलगढ़)
.....................................................................................प्रश्नउत्तरजयपुर को नौ वगों के सिद्धांत पर बसाने वाला महान शिल्पकार कौन थाविद्याधरसवाई जयसिंह के कल्पनानुसार जयपुर शहर की नींव रखी गईराजगुरु पंडित जगन्नाथ सम्राट द्वारापत्थर की जाली एवं कटाई के कारण संसार की प्रसिद्ध हवेलीपटवों की हवेली (जैसलमेर)डीग के महल (भारतीय एवं इस्लामी कला का समन्वय) स्थित हैडीग (भरतपुर) मेंरानी की बावड़ी, संठ की बावड़ी तथा हाड़ी रानी का कुण्ड स्थित हैटोडारायसिंह में‘सभी किलों का सिरमौर’ कहा जाता हैचित्तौड़गढ़ दुर्गकिलो अलखणो यू कहे, आव कला राठौड़। मो सिर उतरे मोहणो, तो सिर बंधै मौड़।। यह लोक प्रसिद्ध दोहा किस दुर्ग से संबंधित है?सिवाणा दुर्गअजमेर का तारागढ़ किला इस नाम से जाना जाता हैगढ़बीठलीतारागढ़ का निर्माण किसने करवाया था?चौहान शासक अजयपाल ने1452 ई. के लगभग राणा कुंभा द्वारा परमार शासकों द्वारा निर्मित आबू के पुराने किले के भग्नावशेषों पर किस दुर्ग का निर्माण करवाया गया?अचलगढ़जोधपुर के संस्थापक राव जोधा ने विक्रम संवत 1515 (1458 ई.) में जिस दुर्ग का निर्माण करवाया वह हैमेहरानगढ़ (जोधपुर)चिडि़या अूंक पहाड़ी पर स्थित मेहरानगड़ का एक नाम यह भी हैमयूरध्वज गढ़‘भगनो विद्युत मंडलाकुति गढ़ी जित्वा समस्तना रीन।’ यह उक्ति जिस दुर्ग के संबंध में कही गई हैमेवाड़ का मांडलगढ़यहां का जगतशिरोमणी मंदिर हिंदु स्थापत्य कलाकी अनुपम कृति हैआमेर (जयपुर)एशिया की सबसे बड़ी जयबाण तोप यहां हैजयगढ़ (जयपुर)सवाई जयसिंह ने मराठों के विरूद्ध सुरक्षा के लिए कौनसा दुर्ग बनवाया थानाहरगढ़ (सुदर्शनगढ़) आमेरगागरौण का सुप्रसिद्ध दुर्ग स्थित हैझालावाड़ में1155 ई. में रावल जैसल द्वारा स्थापित जैसलमेर का प्रसिद्ध दुर्ग हैसोनारगढ़ या सेनगढ़सोनगढ़ किस केटी का दुर्ग हैधान्वन कोटी काभाटियों की वीरता का साक्षी भटनेर का प्राचीन दुर्ग स्थित हैहनुमानगढ़लाल पत्थरों से निर्मित बीकानेर स्थित दुर्गजुनागढ़1733 ई. में महाराजा सुरजमल द्वारा निर्मित भूमि दुर्ग हैलोहागढ़ (भरतपुर)
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